Aman Sehrawat Biography in Hindi

अमन सहरावत का जीवन परिचय (Aman Sehrawat Biography)

अमन सहरावत: Biography, Personal Life, Family, Caste, Birth Place, Wrestling Records, Awards & Medals, Ideal.
Wrestler Aman Sehrawat family and marriage data
Wrestler Aman Sehrawat

अमन सहरावत: पेरिस ओलंपिक 2024 में भारत के कुश्ती का चमकता सितारा

अमन सहरावत का नाम आज भारतीय कुश्ती के हर कोने में गूंज रहा है। एक युवा पहलवान, जो अपने पहले ही ओलंपिक में भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। अमन सहरावत पेरिस ओलंपिक 2024 के लिए क्वालीफाई करने वाले एक मात्र male wrestler हैं । भारतीय कुश्ती की दुनिया में अमन का उभरता हुआ सितारा न केवल उनकी कड़ी मेहनत का परिणाम है, बल्कि उनके आदर्श, सुशील कुमार के प्रति उनके अनोखे सम्मान और समर्पण का भी प्रमाण है। 

सुशील कुमार, जिनके नाम दो ओलंपिक पदक (बीजिंग 2008 में कांस्य और लंदन 2012 में रजत) हैं, अमन के लिए एक आदर्श रहे हैं। अमन ने अपने कमरे में सुशील कुमार की तस्वीर लगाई है, जो उन्हें हर दिन प्रेरणा देती है।

अमन सहरावत का परिचय (Who is Aman Sehrawat)

Details of Aman Sehrawat and his Family (अमन सहरावत और उनके परिवार का विवरण)

नाम अमन सहरावत 
जन्म तारीख16 जुलाई 2003
Height 5 फीट 7 इंच लगभग
Weight 57 kg लगभग 
जन्म स्थानहरियाणा के झज्जर जिले के बिरौहर गांव
पिता का नामस्वर्गीय सोमवीर सहरावत 
माता का नाम स्वर्गीय कमलेश सहरावत 
बहन का नाम पूजा सहरावत (छोटी बहन )
अन्य रिस्तेदार मांगेराम सहरावत (दादा) सुधीर सहरावत (बड़े चचा) 
धर्म और जाती हिन्दू , जाट 
वैवाहिक स्थितिअविवाहित
राशिकर्कट राशि 
पेशाAthlete 
खेल कुश्ती (freestyle wrestling)
insta प्रोफाइल यहाँ पर क्लिक करके देखें 
Details of Aman Sehrawat and his Family

साधारण परिवार से ओलंपिक तक का सफर (Aman’s Journey to Olympics)

अमन सहरावत का जीवन एक प्रेरणादायक कहानी है, जो संघर्ष और समर्पण की मिसाल पेश करता है। हरियाणा के झज्जर जिले के बिरौहर गांव में एक साधारण परिवार में जन्मे अमन का बचपन कठिनाइयों से भरा था। जब अमन केवल 10 साल के थे, तो उन्होंने अपनी मां को खो दिया। इस दुखद घटना के एक साल बाद, उनके पिता भी अपनी पत्नी की मृत्यु के सदमे से उबर नहीं सके और उनका निधन हो गया। इन त्रासदियों ने अमन और उनकी छोटी बहन पूजा सहरावत के जीवन को पूरी तरह से बदल कर रख दिया।

अपने माता-पिता को खोने के बाद, अमन और पूजा का पालन-पोषण उनके बड़े चाचा, सुधीर सहरावत करने लगे। माता-पिता के निधन के बाद, अमन depression में चले गए, जिससे उनकी मानसिक स्थिति काफी कमजोर हो गई थी। इस कठिन समय में, उनके दादा, मांगेराम सहरावत, ने अमन को संभालने और उन्हें depression से बाहर निकालने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। मांगेराम सहरावत का प्यार और समर्थन अमन के जीवन में एक नई रोशनी लेकर आया।

अमन ने अपनी शारीरिक और मानसिक परेशानियों को कुश्ती के माध्यम से दूर करने का निर्णय लिया। स्कूल के खेलों में उनकी उत्कृष्टता ने उन्हें पहचान दिलाई, और उन्होंने गांव की प्रतियोगिताओं में भी छोटी दूरी की दौड़ में कई बार जीत हासिल की। उनके दादा ने उन्हें नई दिल्ली के छत्रसाल स्टेडियम में भर्ती कराया, जहां से उनकी कुश्ती की यात्रा शुरू हुई। अमन ने कठिनाइयों का सामना करते हुए न केवल अपनी पढ़ाई पूरी की बल्कि कुश्ती में भी उल्लेखनीय उपलब्धियाँ हासिल कीं।

इस तरह, एक साधारण परिवार में जन्मे और अपने माता-पिता को खोने के बाद भी, अमन सहरावत ने हार नहीं मानी। उन्होंने अपने दादा और चाचा के समर्थन और मार्गदर्शन से अपने सपनों को साकार किया और आज पेरिस ओलंपिक 2024 में भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। अमन की इस यात्रा ने यह साबित कर दिया है कि जीवन में कितनी भी कठिनाइयाँ क्यों न आएं, अगर हमारे पास दृढ़ संकल्प और सही मार्गदर्शन हो, तो हम किसी भी लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं।

कुश्ती की दुनिया में अमन का उदय (Aman Sehrawat rise in wrestling world)

अमन ने 2021 में राष्ट्रीय चैम्पियनशिप का खिताब जीतकर अपने कुश्ती करियर को एक नई दिशा दी। उस व्यक्त ललित कुमार उनके coach हुआ करते थे। इसके बाद से उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा। 2023 में, अमन ने स्पेन में आयोजित अंडर-23 विश्व चैंपियनशिप में 57 किलोग्राम वर्ग में स्वर्ण पदक जीतकर भारतीय कुश्ती में एक नया इतिहास रचा। उनकी यह सफलता मात्र संयोग नहीं थी; इससे पहले, अंडर-17 जूनियर विश्व चैंपियनशिप में भी उन्होंने स्वर्ण पदक जीता था। 2024 में, उन्होंने ज़ाग्रेब ओपन कुश्ती टूर्नामेंट में भी स्वर्ण पदक जीतकर अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया।

अमन सहरावत का परिवार और शादी (Aman Sehrawat Family and marriage)

अमन सहरावत, जिनका जन्म 16 जुलाई 2003 को हरियाणा के झज्जर जिले के बिरौहर गांव में हुआ, वर्तमान में अविवाहित हैं। अपने माता-पिता को बचपन में खोने के बाद, उन्होंने अपने दादा  और चाचा के समर्थन से जीवन की कठिनाइयों का सामना किया।

उनका पूरा ध्यान अब पेरिस ओलंपिक 2024 में भारत का नाम रोशन करने पर है। अमन का यह समर्पण और उनकी संघर्षपूर्ण यात्रा हर युवा एथलीट के लिए प्रेरणा का स्रोत है।

अमन सहरावत की प्रमुख उपलब्धियां (Major achievements of Aman Sehrawat)

Wrestler Aman Sehrawat Achivements and Awards
Wrestler Aman Sehrawat Achivements and Awards
वर्ष (Year)पुरस्कार/पदक (Award/Medal)प्रतियोगिता (Event)स्थान (Place)
2018कांस्य (Bronze)वर्ल्ड कैडेट्स चैंपियनशिप (World Cadets Championship)ज़ाग्रेब (Zagreb)
2019कांस्य (Bronze)वर्ल्ड कैडेट्स चैंपियनशिप (World Cadets Championship)सोफिया (Sofia)
2019स्वर्ण (Gold)एशियन कैडेट चैंपियनशिप (Asian Cadet Championship) (55 Kg category)नूर-सुल्तान (Nur-Sultan)
2022स्वर्ण (Gold)यू-23 एशियन चैंपियनशिप (U-23 Asian Championships)बिश्केक (Bishkek)
2022स्वर्ण (Gold)यू-23 वर्ल्ड चैंपियनशिप (U-23 World Championships)पोंटेवेद्रा (Pontevedra)
2022रजत (Silver)डैन कोलोव और निकोला पेत्रोव टूर्नामेंट (Dan Kolov & Nikola Petrov Tournament)वेलिको टर्नोवो (Veliko Tarnovo)
2022रजत (Silver)ग्रैंड प्री (Grand Prix)ट्यूनिस (Tunisia)
2022कांस्य (Bronze)एशियन U20 चैंपियनशिप (Asian U20 Championship)मनामा (Manama)
2022कांस्य (Bronze)यासर डोगू टूर्नामेंट (Yasar Dogu Tournament)इस्तांबुल (Istanbul)
2023स्वर्ण (Gold)एशियन रेसलिंग चैंपियनशिप (Asian Wrestling Championships)अस्ताना, कजाकिस्तान (Astana, Kazakhstan)
2023कांस्य (Bronze)एशियन गेम्स (Asian Games)Hangzhou
2023कांस्य (Bronze)ग्रैंड प्री (Grand Prix)ज़ाग्रेब (Zagreb)
2024रजत (Silver)ग्रैंड प्री (Grand Prix)बुडापेस्ट (Budapest)
2024स्वर्ण (Gold)ग्रैंड प्री (Grand Prix)ज़ाग्रेब (Zagreb)

पेरिस ओलंपिक में अमन कैसे क्वालफाइ किया ( Aman Qulification for Olympics 2024)

अमन सहरावत ने Istanbul के 2024 World Wrestling Olympic Qualification Tournament में शानदार प्रदर्शन करते हुए पेरिस ओलंपिक 2024 के लिए क्वालीफाई किया। इस उपलब्धि ने उन्हें भारत के एकमात्र पुरुष पहलवान के रूप में पेरिस ओलंपिक की भारतीय टीम में जगह दिलाई है। उनकी इस यात्रा ने न केवल उनके सपनों को साकार किया, बल्कि भारतीय कुश्ती को भी नई ऊँचाइयों पर पहुंचाया है।

अमन सहरावत का ओलिम्पिक मेडल (Olympic Medal for Aman)

अमन सहरावत ने अपने जीवन में सुशील कुमार को आदर्श मानते हुए कई सफलताएँ हासिल की हैं। सुशील कुमार की उपलब्धियाँ और उनके संघर्षों की कहानियाँ अमन को निरंतर प्रेरित करती रही हैं। अमन का यह कहना है कि जब भी वह अपने आदर्श सुशील कुमार की तस्वीर देखते हैं, तो उन्हें अपने लक्ष्य की ओर और अधिक मेहनत करने की प्रेरणा मिलती है।

अमन सहरावत, जिन्होंने पूरे देश की उम्मीदों को अपने कंधों पर लेकर पेरिस ओलंपिक 2024 में प्रवेश किया, आज उन चुनौतियों का सामना कर रहे हैं, जो हर एथलीट के करियर में एक बड़ा मोड़ साबित होती हैं। 57KG फ्रीस्टाइल कुश्ती के सेमीफाइनल में, जापान के HIGUCHI Rei के खिलाफ एक कठिन मुकाबले में उन्हें हार का सामना करना पड़ा। यह हार न केवल अमन के लिए, बल्कि पूरे देश के लिए एक निराशाजनक क्षण था।

लेकिन अमन अब कांस्य पदक के लिए Puerto Rico के Darian Toi Cruz के खिलाफ मुकाबला करेंगे। यह मैच न केवल उनके लिए, बल्कि भारत के लिए भी अत्यधिक महत्वपूर्ण है। अब भारत की नजरें इस युवा पहलवान पर टिकी हैं, जो कठिनाइयों के बावजूद मैदान में उतरकर इतिहास रचने का प्रयास करेंगे।

पूरे देश की दुआएं और समर्थन अमन के साथ हैं, और सभी को उम्मीद है कि वह कांस्य पदक जीतकर तिरंगे को एक बार फिर ऊंचा करने में सफल होंगे।

निष्कर्ष

अमन सहरावत की कहानी संघर्ष, समर्पण और सपनों की उड़ान की है। पेरिस ओलंपिक 2024 में उनका सफर न केवल उनके लिए बल्कि पूरे देश के लिए गर्व का क्षण है। सुशील कुमार की प्रेरणा से आगे बढ़ते हुए, अमन का यह सफर भारतीय कुश्ती के भविष्य के लिए एक नई उम्मीद है। हम सबको अमन की इस अद्भुत यात्रा से प्रेरणा लेनी चाहिए और उनके सफलता की कहानी से सीखना चाहिए कि कठिनाइयों के बावजूद, अगर हमारे पास दृढ़ संकल्प और सही मार्गदर्शन हो, तो हम किसी भी लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं।


Leave a Comment